मुख्यमंत्री कमलनाथ ने राज्यपाल टंडन को सौंपा इस्तीफा

भोपाल। विधानसभा बहुमत परीक्षण से पूर्व ही इस्तीफा दे देखने के बाद विपक्षी दल सरकार बनाने की कवायद में जुट चुका है। इसी बीच इस्तीफा देने के बाद कार्यवाहक मुख्यमंत्री कमलनाथ ने ट्वीट कर अपने मन की बात कही है।


मुख्यमंत्री कमलनाथ ने ट्वीट में कहा है कि मध्यप्रदेश के आत्मसम्मान को कोई हरा नहीं सकता है। भले ही आज प्रदेश में उम्मीद और विश्वास की हार हुई है। लोभी और प्रलोभी लोग जीत गए हैं किंतु मैं अपनी इच्छाशक्ति से मध्य प्रदेश के विकास के लिए हमेशा काम करता रहूंगा।


बता दें कि इससे पूर्व कांग्रेस विधायक दल की बैठक में मुख्यमंत्री कमलनाथ ने सभा को संबोधित करते हुए कहा की उन्होंने कितने है जीतने वालों को हारते हुए देखा है। गलत तरीके से प्राप्त जीत लंबे समय तक नहीं टिक पाते हैं। कमलनाथ ने कहा कि मैंने जिस दिन मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी, मेरे सामने कई चुनौतियां थी। किसानों के कर्ज माफी के निर्णय से लेकर शासकीय तंत्र की व्यवस्था में सुधार और बजट को भी लेकर हमारे सरकार की बहुत से तैयारियां थी। विपक्षी दलों पर निशाना साधा उन्होंने कहा कि आज प्रलोभन देकर हमारी सरकार को गिराने का काम तो किया गया किंतु लोकतांत्रिक मूल्यों को परेशान किया जा सकता है, कभी खत्म नहीं किया जा सकता है। मुख्यमंत्री नाथ ने कहा कि उनके पास इस प्रलोभन की राजनीति के कई प्रमाण है जो वह वक्त आने पर जनता के सामने पेश करेंगे। जहां मुख्यमंत्री कमलनाथ ने विधायकों को विश्वास दिलाया है कि कांग्रेस फिर से सत्ता में लौटेगी और इस पर मजबूती के साथ लौटेगी।


गौरतलब हो कि गुरुवार को कोर्ट के फैसले के बाद शुक्रवार को विधानसभा में कमलनाथ सरकार को शक्ति परीक्षण करना था किंतु शुक्रवार को मुख्यमंत्री कमलनाथ ने पत्रकार वार्ता करते हुए अपने इस्तीफे का ऐलान कर दिया। उसके बाद जाकर अपना इस्तीफा राज्यपाल टंडन को सौंपा।